काले कम्बल वाले कथित बाबा के तथाकथित स्वास्थ्य शिविरों पर पर रोक लगी. डॉ. दिनेश मिश्र - sanskar.live
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जनवरी 24, 2025

काले कम्बल वाले कथित बाबा के तथाकथित स्वास्थ्य शिविरों पर पर रोक लगी. डॉ. दिनेश मिश्र

  जिला प्रशासन बधाई का पात्र 

 



 Raipur Sanskar news Gaurav Chandrakar अंधश्रद्धा निर्मूलन समिति के अध्यक्ष डॉ दिनेश मिश्र ने  कम्बल वाले बाबा के तथाकथित शिविरों पर रोक लगाने की मांग जिला कलेक्टर  , मुख्यचिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को पत्र लिख कर की थी,उस पर संज्ञान लेते हुए प्रशासन ने उक्त बाबा के  रायपुर के शिविर पर रोक लगा दी है. डॉ मिश्र ने प्रशासन के प्रति आभार व्यक्त किया है .



डॉ  मिश्र ने कहा पिछले कुछ समय से अहमदाबाद (गुजरात) के पास के एक व्यक्ति गणेश यादव जो कि स्वयं को कम्बल वाले बाबा के नाम से प्रचारित करता है तथा अपने कम्बल को मरीजों को ढाँकने से, झाड़-फूँक करने से, मनुष्यों की बीमारियों को ठीक करने की बात प्रचारित करता है तथा वह अनेक स्थानों पर ऐसे शिविरों का आयोजन करता है, इस प्रकार के शिविर संदेहास्पद हैं। 

चिकित्सा विज्ञान इस प्रकार के दावों को सत्य नहीं मानता तथा विज्ञान के अनुसार भी किसी भी बीमारी का उपचार इस प्रकार कम्बल ओढ़ाने, विवित्र प्रकार से झाडफ़ूँक करने, हाथ-पैर मोडऩे, पटकने, धक्का देने से संभव नहीं है और न ही इस प्रणाली को चिकित्सा विज्ञान ने मान्यता दी है। इस प्रकार के उपचारों से अशिक्षित और ग्रामीण अँचल के ऐसे लोग जो स्वास्थ्य सुविधाओं से वंचित हैं, अपने उपचार के लिए चले जाते हैं जो स्वास्थ्य एवं मानसिक रूप से ठगे जाते हैं।

और वैसे भी ठंड के मौसम में प्रकार पीड़ितों का मजमा लगा कर उपचार करने की बात अनैतिक व हास्यास्पद भी है.

इंडियन ड्रग एंड मेजिक रेमेडी एक्ट 1954 के तहत ऐसी 54 बीमारियों जिसमें डायबिटीज, ब्लड प्रेशर, विकलांगता शामिल हैं, का इस प्रकार तथाकथित झाडफ़ूँक से उपचार करना तथा उसका प्रचार करना कानूनी अपराध है।

हमने पहले भी इस प्रकार के शिविर पर रोक लगाने की मांग की थी जिस पर संज्ञान लेते हुए  सरगुजा, बलौदाबाजार के जिला प्रशासन ने उक्त बाबा के तथाकथित शिविरों पर  जांच , और रोक  लगाने की कार्यवाही की है  हमारी मांग रही  है कि कम्बल वाले बाबा उर्फ गणेश यादव के सभी तथाकथित स्वास्थ्य शिविरों पर प्रतिबंध लगाया जाये ताकि क्षेत्र की भोली-भाली जनता को अंधविश्वास, ठगी से और धोखाधड़ी से बचाया जा सके।




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